Kitna Dayalu Hai Tu
क्रूस पर अपना लहू बहाकर पापों की सारी कीमत चुकाकर हाथों में अपने हमें उठाकर हरपल संभाला है तू यीशु मेरे प्यारे प्रभु कितना दयालू है तू -2
हम तो गुनहगार थे लायक दया के न थे लहू बहाकर, पापों को धोकर धर्मी बनाया है तू यीशु मेरे प्यारे प्रभु कितना दयालू है तू -2
कितना है प्यार तेरा कर न सकूं मैं बयाँ स्वर्ग को छोड़कर, आया पृथ्वी पर मेरे लिए ही प्रभु यीशु मेरे प्यारे प्रभु कितना दयालू है तू -2
क्या तेरी तारीफ़ करूँ क्या तेरा वर्णन करूँ -2 वर्णन से बढ़कर, बुद्धि से बाहर कृपा करता है तू यीशु मेरे प्यारे प्रभु कितना दयालू है तू -2
Kitna Dayalu Hai Tu | Krus Par Apna Lahu Bahakar